और पढ़ें: क्या वेजीटेरियन या वेगन लोगों को स्ट्रोक का खतरा ज्यादा होता है?
- रक्तस्रावी स्ट्रोक (hemorrhagic stroke) तब होता है जब मस्तिष्क में एक रक्त वाहिका फट जाती है और उसमें से रक्त बहने लगता है।
- ट्रांजिएंट इस्केमिक अटैक (transient ischemic attack (TIA) या मिनिस्ट्रोक, के लक्षणों से पहचानना मुश्किल हो सकता है। यह एक त्वरित घटना है। लक्षण 24 घंटों के भीतर पूरी तरह से चले जाते हैं और अक्सर पांच मिनट से कम समय तक रहते हैं। टीआईए मस्तिष्क में रक्त के प्रवाह के अस्थायी अवरोध के कारण होता है। यह इसका संकेत है कि अधिक गंभीर स्ट्रोक आ सकता है।
स्ट्रोक के लिए फर्स्ट एड ट्रीटमेंट (Fist aid treatment for stroke)
सबसे पहले करें डॉक्टर को कॉल
स्ट्रोक के लिए फर्स्ट एड ट्रीटमेंट (First aid treatment for stroke) में सबसे पहले ऊपर बताए किसी भी लक्षण के दिखाई देने पर डॉक्टर की मदद लें। कई बार स्ट्रोक के लक्षणों को एक सामान्य व्यक्ति के लिए समझना मुश्किल हो सकता है। इसलिए अगर आपको खुद में या किसी दूसरे में कुछ भी असामान्य लक्षण नजर आते हैं तो इमरजेंसी मदद लेना सबसे सही होगा ताकि सीवियर डैमेज को रोका जा सके।
और पढ़ें: ऐसे करें स्ट्रोक के मरीजों की घर पर देखभाल
स्ट्रोक के लक्षण (Symptoms of stroke) कब दिखाई दिए थे समय को करें नोट
स्ट्रोक के मरीज को क्लॉट बस्टिंग मेडिकेशन देते हैं। ये लक्षणों को सुधारने और रोकने में मदद करता है, लेकिन ये दवा लक्षणों के शुरू होने के 4 घंटे के आसपास दी जाती है। इसके अलावा भी मरीज को कई एडवांस्ड थेरिपीज दी जाती हैं। स्ट्रोक का कारण बनने वाले क्लॉट को सर्जरी के द्वारा हटा दिया जाता है। इस्केमिक स्ट्रोक के लिए दिया जाने वाला सर्जरी ट्रीटमेंट लक्षण दिखने के 24 घंटे के अंदर दिया जाता है। इसलिए अगर आप किसी व्यक्ति में स्ट्रोक के लक्षणों को देखते हैं तो उस समय को जरूर नोट कर लें। ताकि उसे उचित ट्रीटमेंट दिया जा सके। यह भी स्ट्रोक के लिए फर्स्ट एड टीट्रमेंट का जरूरी हिस्सा है।
स्ट्रोक के लिए फर्स्ट एड में सीपीआर (CPR) का उपयोग करें
ज्यादातर स्ट्रोक के पेशेंट को सीपीआर देने की जरूरत नहीं पड़ती हैं, लेकिन आपका दोस्त या करीबी अनकॉन्शियस हो रहा है तो उसकी पल्स और हार्ट बीट चेक करें। अगर यह बेहद कम या ना के बराबर है तो सीपीआर देना शुरू करें। जिसमें सीने को पंप करना, माउथ टू माउथ सांस देना शामिल है। सीपीआर कैसे देना है ये आप किसी डॉक्टर या एक्सपर्ट से पूछ सकते हैं। इसका सही टेक्नीक को अपनना जरूरी होता है।
स्ट्रोक के लिए फर्स्ट एड ट्रीटमेंट के दौरान इन बातों का भी रखें ख्याल