सांस लेने में दिक्कत महसूस होना, निमोनिया, अस्थमा, ब्रोंकाइटिस और लंग कैंसर जैसे कई ऐसे लंग डिजीज हैं, जिसके शिकार लोग वर्षों से होते चले आ रहे हैं और पिछले कुछ सालों में इनकी संख्या काफी बढ़ी भी है। अब तो लंग डिजीज में एक और नई बीमारी शामिल हो गई है, कोविड-19। जिसके बारे में हम सभी को अच्छे से पता है। शायद ये अभी तक की फेफड़ों की कई गंभीर बीमारियों में से सबसे खतरनाक बीमारी है। लंग से जुड़ी बीमारियों से बचाव के लिए, लोगों को जागरूक करने के लिए हर साल 25 सितंबर को ‘वर्ल्ड लंग डे’ मनाया जाता है। इसकी शुरूआत 25 सितंबर 2017 में हुई थी, इस दिन विश्व में पहली बार वर्ल्ड लंग डे मनाया गया था। इस खास दिन का मुख्य उद्देश्य यही रहा है कि लोगों को अधिक से अधिक लंग डिजीज के कारणों और उससे बचाव के तरीकों से परिचित करवाया जा सके। कोरोना काल में इस दिन की महत्वता और भी अधिक बढ़ गई है, क्योंकि कोरोना वायरस ने दुनिया भर को दिखा दिया है कि वह फेफड़ों की कितनी खतरनाक बीमारी है। इससे बचने के लिए हमें किस प्रकार अपने इम्यून सिस्टम के साथ-साथ अपने फेफड़ों को भी मजबूत बनाए रखने की आवश्यकता है। कोराेना जैसे लंग डिजीज का खतरा केवल भारत में ही नहीं बल्कि पूरे विश्व में ही बना हुआ है। तो इससे बचाव के लिए जानें एक्सपर्ट की राय