के द्वारा मेडिकली रिव्यूड डॉ. हेमाक्षी जत्तानी · डेंटिस्ट्री · Consultant Orthodontist
ब्रूम कॉर्न एक पौधा है। इसके बीजों का इस्तेमाल दवाओं में किया जाता है। इसका वानस्पातिक नाम Sorghum bicolor है। ये पोएसी परिवार से ताल्लुख रखता है। इसे खासतौर पर डायजेशन संबंधित परेशानियों के लिए इस्तेमाल किया जाता है। खाने में इसे अनाज के रूप में उपयोग किया जाता है। इसे चिकन कॉर्न, सोरघम, ग्रेन सोरघम, के नाम से भी जाना जाता है। ये स्टार्च का अच्छा स्त्रोत है। इसमें एंटी कैंसर गुण होते हैं जो ब्रेस्ट कैंसर में मददगार है। इसके अलावा ये गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल संबंधित परेशानियां, यूरिनरी ट्रैक्ट इंफेक्शन, प्रोस्टेट हाइपरप्लेसिआ, सेक्सुअल डिसऑर्डर के इलाज में भी कारगर है।
डायजेस्टिव सिस्टम को रखे दुरुस्त (Keep digestive system healthy):
इसमें फाइबर अच्छी मात्रा में होता है। ये आपके भोजन को पचाने से लेकर पेट में ऐंठन, सूजन, कब्ज की समस्या, दर्द, अधिक गैस और दस्त की समस्या से राहत दिलाने में लाभदायक है। डायजेशन संबंधित परेशानियों में इसलिए चिकित्सक इसका सेवन करने की सलाह दे सकता है।
कब्ज की समस्या खाने में फाइबर की कमी के कारण होता है। जो लोग खाने में सही फाइबर या फिर पानी की सही मात्रा का सेवन नहीं करते हैं, उन्हें कब्ज की समस्या से गुजरना पड़ सकता है। खाने में नियमित तौर पर फाइबर युक्त का इस्तेमाल कॉन्स्टिपेशन की समस्या को दूर करने में मदद कर सकता है। आपको बताते चले कि अगर खाने का डायजेशन सही से नहीं होता है तो पेट संबंधि कई प्रकार की समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। अगर किसी व्यक्ति को स्टूल पास करने में किसी प्रकार की समस्या हो रही है या फिर स्टूल टाइट हो रहा है तो खानपान पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है।
एंटी कैंसर प्रॉपर्टीज (Anti cancer properties)
फूड केमिस्ट्री जर्नल के अनुसार, इसमें एंटीऑक्सीडेंट्स और एंथोसायनिन होते हैं जो बहुत तरह के कैंसर को बढ़ने से रोकने का काम करते हैं। ब्रूम कॉर्न में पाए जाने वाले एंटीऑक्सीडेंट के कारण शरीर फ्री रेडिकल्स से भी बचा रह सकता है। फ्री रेडिकल्स बॉडी को नुकसान पहुंचाते हैं और सेल्स को म्यूटेट कर कैंसर में बदलने का काम भी कर सकते हैं। ब्रूम कॉर्न फ्री रेडिकल्स को खत्म करने का काम करता है।
डायबिटीज को करे कंट्रोल (Controls Diabetes)
इसमें टैनिन नामक एक एंजाइम होता है, जो डायबिटीज की समस्या से बचाने और कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम करने में भी मदद मिलती है। कई शोध में इस बात की पुष्टि हो चुकी है की ये कैंसर के इलाज के लिए वरदान सामान है। अधिक मात्रा में कार्बोहाइड्रेट ब्रेकडाउन सिंपल शुगर में चेंज हो जाता है जो कि डायबिटीज का कारण भी बन सकता है। ब्रूम कॉर्न में टैनिन पाई जाती है जो कि बॉडी के स्टॉर्च अवशोषण को कम करने का काम करती है और साथ ही ग्लूकोज और इंसुलिन के लेवल को सही करने का काम भी करती है। इसी कारण से ब्रूम कॉर्न का उपयोग कर डायबिटीज की समस्या से बचा जा सकता है।
हड्डियों को बनाए मजबूत (Maintains strong bones)
इसमें मैग्नीशियम होता है जो शरीर में कैल्शियम के लेवल के मेंटेन रखता है। ब्लड में मैग्नीशियम की उच्च मात्रा बड़ी उम्र में लोगों को फ्रैक्चर से बचाने में सहायक है। हड्डियों को मजबूत बनाने के लिए इसका उपयोग करना फायदेमंद मन जाता है।
सर्कुलेशन को बढ़ाता है (Increases circulation)
जर्नल साइंस ऑफ द टोटल एनवायरनमेंट के एक शोध के अनुसार, इसमें मिनिरल्स जैसे कॉपर, आयरन, जिंक, मैग्निशियम और कैल्शियम होता है। कॉपर हमारे शरीर में आयरन के अवशोषण में वृद्धि करता है।
एनर्जी को करे बूस्ट (Boost energy)
डिपार्टमेंट ऑफ न्यूट्रिशनल साइंस के एक रिसर्च के अनुसार, इसमें विटामिन-बी3 होता है जो भोजन को ऊर्जा में परिवर्तित करने और पोषक तत्वों को ऊर्जा में बदलने के लिए शरीर के लिए उपयोगी है।
सीलिएक डिजीज ग्लुटेन के प्रति एलर्जी है। वीट बेस्ड प्रोडक्ट में ग्लूटेन पाया जाता है। वीट या फिर इससे बनने वाले ज्यादातर प्रोडक्ट में ग्लूटेन पाया जाता है। जो लोग सीलिएक रोग से ग्रसित हैं या फिर जिन लोगों को ग्लूटेन से एलर्जी है, उनके लिए ब्रूम कॉर्न का सेवन लाभकारी हो सकता है। ब्रूम कॉर्न का सेवन गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल डैमेज से बचाने का काम करता है।
ब्रूम कॉर्न कैसे काम करता है इस बारे में अधिक शोध करने की जरूरत है। हालांकि कुछ शोध बताते हैं कि इसमें कुछ ऐसे रसायन होते हैं जो डायजेस्टिव सिस्टम को दुरुस्त रखने में मददगार है। इसके अलावा ये कॉपर, आयरन, जिंक, मैग्निशियम और कैल्शियम जैसे मिनिरल्स से भरपूर होता है, जो हमारे स्वास्थ्य के लिए कई तरह से फायदेमंद होता है।
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निम्नलिखित परिस्थितियों में इसका इस्तेमाल करने से पहले डॉक्टर या हर्बालिस्ट से सलाह लें:
वैज्ञानिक अध्ययनों की कमी के कारण ब्रूम कॉर्न को लेकर बरती जाने वाली सावधानियों की जानकारी कम है। इस बात को हमेशा ध्यान रखें कि हर्बल सप्लीमेंट के उपयोग से जुड़े नियम दवाओं के नियमों जितने सख्त नहीं होते हैं। इनकी उपयोगिता और सुरक्षा से जुड़े नियमों के लिए अभी और शोध की जरूरत है। इस हर्बल सप्लीमेंट के इस्तेमाल से पहले इसके फायदे और नुकसान की तुलना करना जरूरी है। इस बारे में और अधिक जानकारी के लिए किसी हर्बल विशेषज्ञ या आयुर्वेदिक डॉक्टर से संपर्क करें।
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प्रारंभिक शोध के अनुसार, ब्रूम कॉर्न ब्रोन्कियल अस्थमा एलर्जी को प्रेरित कर सकता है।
हालांकि हर किसी को ये साइड इफेक्ट हो ऐसा जरूरी नहीं है, कुछ ऐसे भी साइड इफेक्ट हो सकते हैं, जो ऊपर बताए नहीं गए हैं। अगर आपको इनमें से कोई भी साइड इफेक्ट महसूस हो या आप इनके बारे में और जानना चाहते हैं तो नजदीकी डॉक्टर से संपर्क करें।
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इस हर्बल सप्लीमेंट की खुराक हर मरीज के लिए अलग हो सकती है। आपके द्वारा ली जाने वाली खुराक आपकी उम्र, स्वास्थ्य और अन्य कई चीजों पर निर्भर करती है। हर्बल सप्लीमेंट हमेशा सुरक्षित नहीं होते हैं। इसलिए सही खुराक की जानकारी के लिए हर्बलिस्ट या डॉक्टर से चर्चा करें। कई लोग इसकी खुराक खुद से निर्धारित कर लेते हैं। ऐसी गलती बिलकुल ना करें। आपके द्वारा की गयी ये छोटी सी गलती हानिकारक साबित हो सकती है।
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ब्रूम कॉर्न निम्नलिखित रूपों में उपलब्ध है:
उपरोक्त जानकारी चिकित्सा सलाह का विकल्प नहीं है। अधिक जानकारी के लिए आप एक्सपर्ट से जरूर परामर्श करें। हम आशा करते हैं आपको हमारा यह लेख पसंद आया होगा। हैलो हेल्थ के इस आर्टिकल में इस हर्बल से जुड़ी ज्यादातर जानकारियां देने की कोशिश की है, जो आपके काफी काम आ सकती हैं। अगर आपको ऊपर बताई गई कोई सी भी शारीरिक समस्या है तो इस हर्ब का इस्तेमाल आपके लिए फायदेमंद हो सकता है। इस हर्ब को लेकर अगर आपको कोई सवाल है या आप इसके बारे में अधिक जानकारी चाहते हैं तो किसी हर्बलिस्ट या आर्युवेदिक एक्सपर्ट से संपर्क करें।
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